Alwar में एंटी करप्शन ब्यूरो की बड़ी कार्रवाई, राजस्व बाबू ने स्टे हटवाने के लिए मांगी इतने रुपये की रिश्वत
ACB Action in Alwar : रमनलाल सैनी ने एसीबी को सूचित किया कि बाबू जितेंद्र मीणा ने स्कूल संचालन के लिए खरीदी गई जमीन पर RAA का स्टे हटवाने के लिए उनसे रिश्वत मांगी थी।

ACB Action in Alwar : अलवर में एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए राजस्व अपील अधिकारी (RAO) कोर्ट में कार्यरत बाबू जितेंद्र मीणा को रंगे हाथों रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है। ये कार्रवाई एसीबी के लिए एक बड़ी सफलता साबित हुई है, खासकर जब बाबू ने एक जमीन विवाद मामले में पक्षकार से डेढ़ लाख रुपए की रिश्वत की मांग की थी।
जमीन के मामले में रिश्वत का खेलरमनलाल सैनी ने एसीबी को सूचित किया कि बाबू जितेंद्र मीणा ने स्कूल संचालन के लिए खरीदी गई जमीन पर RAA का स्टे हटवाने के लिए उनसे रिश्वत मांगी थी। सैनी का आरोप था कि बाबू दोनों पक्षों से रिश्वत लेकर निर्णय पर असर डालता है। उन्होंने बताया कि पहले एसडीएम कोर्ट ने उनके पक्ष में फैसला दिया था, लेकिन बाबू ने विपक्ष से रिश्वत लेकर स्टे लगवा दिया था।
6 जनवरी 2025 को बाबू ने फिर से 1.5 लाख रुपये की मांग की, और जब सैनी ने पैसे दिए, तो एसीबी की टीम ने कलेक्ट्रेट गेट पर बाबू को रंगे हाथ पकड़ लिया।
रिश्वत के खेल में बाबू का बयानबाबू ने एसीबी के सामने ये स्वीकार किया कि "ऊपर तक पैसे देने होते हैं, RAA को भी हिस्सा देना है।" ये बयान भ्रष्टाचार के गहरे नेटवर्क का संकेत देता है, जिसमें रिश्वत के बदले फैसले बदलने की पुरानी प्रथा जारी है। बाबू के इस स्वीकारोक्ति से ये साफ है कि भ्रष्टाचार का ये सिलसिला सिर्फ एक व्यक्ति तक सीमित नहीं, बल्कि इसके पीछे एक बड़ा तंत्र काम कर रहा है।
एसीबी की कार्रवाई से उभरता सवालये कार्रवाई इस बात का संकेत है कि भ्रष्टाचार के खिलाफ सख्त कदम उठाए जा रहे हैं। एसीबी की ये कार्रवाई राज्य में भ्रष्टाचार को रोकने के लिए एक महत्वपूर्ण प्रयास मानी जा रही है। हाल के दिनों में एसीबी द्वारा ये दूसरी बड़ी कार्रवाई है, जिसमें पहले जयपुर विधानसभा के पास भी एक रेवेन्यू अफसर को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया गया था।